मोतिहारी।
सुगौली प्रखंड के सपहां में सिकरहना नदी के समीप बन रहे बांध का स्थानीय ग्रामीणों ने विरोध किया। जहां आक्रोशित ग्रामीणों ने निर्माण कार्य को रोका दिया। सुगौली के उतरी व दक्षिणी छपरा बहास पंचायत के सपहां में प्रभावित लोग सिकरहना नदी के दक्षिण तरफ बांध बांधने के विरोध में प्रदर्शन कर आक्रोश जताया। इस दौरान ग्रामीणों ने जमकर बवाल काटा। साथ हीं जेसीबी के आगे ग्रामीण आकर बैठ गये। जिससे जेसीबी को बंद करना पड़ा और ग्रामीणों का आक्रोश को देखते हुए बांध बांधने के कार्य को रोक कर जेसीबी को बाहर सड़क पर निकालना पड़ा। मौके पर पहुंचे पूर्व मंत्री रामचन्द्र सहनी ने भी स्थानीय ग्रामीणों का समर्थन किया। उन्होंने इस कार्य को लेकर विरोध जताया। स्थानीय लोगों ने बताया की इस गांव में करीब 80 प्रतिशत लोग खेती पर निर्भर है। यदि सिकरहना नदी के दक्षिणी तरफ बांध बना दी जाएगी तो खेत बलुवट हो जाएगी। बाढ़ का पानी जमा होने से गांव विस्थापित हो जाएगा। जिससे कोई भी फसल नही हो पाएगा। साथ हीं लोगों का घर पानी से घिर जाएगा। नदी से कुछ दुरी पर बन रही बांध लोग प्रभावित होगें।
बताते चलें कि यह कार्य जल संसाधन विभाग द्वारा शुरू किया गया था। पूर्व में सरकार द्वारा किए गए अधिग्रहित भूमि पर बांध निर्माण किया जाना है। जहां 1978-80 में भूमि अधिग्रहण किया गया था। जिसको लेकर विभागीय स्तर से बांध का निर्माण शुरू कराया गया। लेकिन स्थानीय ग्रामीणों ने इस निर्माण कार्य को रोक दिया। सिकरहना नदी से कुछ दुरी पर बांध निर्माण होना है। जहां सिकरहना नदी से बांध निर्माण स्थल के बीच लोगों का खेत व घर है। जिन्हें इसकी चिंता सताने लगी है कि बांध बनने के बाद घर में पानी प्रवेश कर जाएगा और खेती मारी जाएगी।
पूर्व मंत्री रामचन्द्र सहनी, पप्पू कुमार यादव, गंगा राम, प्रदीप प्रसाद, मनोज कुमार यादव, मुखिया पति अनिरुद्ध सिंह, मो.कमरेआजम, मैनेजर सहनी, मो. सालीम, मो. सलवतुल्लाह, मो.मालगुजार,मो.जुनैद, तौफिकूर रहमान, एकबाल हुसैन आदि लोगों ने बताया की सोने जैसी खेत जिसमे धान, गेंहू, गन्ना सहित कई फसलों को उगाया जाता है। इस गांव में करीब 80 प्रतिशत लोग खेती पर निर्भर है। यदि सिकरहना नदी के दक्षिणी तरफ बांध बना दी जाएगी तो खेत बलुवट हो जाएगी। बाढ़ का पानी जमा होने से गांव विस्थापित हो जाएगा। जिससे कोई भी फसल नही हो पाएगा। सभी किसान को खाने के लाले पड़ जाएंगे। हमलोग किसी भी कीमत पर इसे नही करने देंगे। साथ हीं लोगों का घर पानी से घिर जाएगा। नदी से कुछ दुरी पर बन रही बांध लोग प्रभावित होगें। जिसका नुकसान होगा। इसको लेकर मुख्यमंत्री कार्यालय व जिलाधिकारी को ज्ञापन दिया गया है। सभी ग्रामीणों ने इसको लेकर आंदोलन करने का निर्णय ले लिया है। सरकार किसानों को मदद करने का काम करे।
